म्यूच्युअल फण्ड कई प्रकार के होते है जिसमे से एक मल्टी केप फण्ड (Multi Cap Fund) है। हम म्यूच्युअल फण्ड को हमारे वित्तीय लक्ष्य प्राप्त करने के लिये करते है। म्यूच्युअल फण्ड मे सबसे ज्यादा लोकप्रिय मल्टीकेप फण्ड होता है हम इस लेख मे मल्टी केप फण्ड (Multi Cap Fund) के बारे मे और इसके फायदे के बारे मे जानेंगे ये इतने लोकप्रिय फण्ड क्यो है यह भी जानेंगे।
मल्टीकैप फण्ड क्या होते हैं – What is MultiCap Funds
मल्टी केप फण्ड वे फण्ड होते है जिसमे की एक से अधिक केटेगरी के फण्ड मिले होते है। ये मार्केट मे अलग-अलग केपिटलाइजेशन (capitalization) वाली कम्पनीया होती है। इस फण्ड मे मल्टीकैप फंड लार्ज कैपए स्माल कैप और मिड कैप तीनों प्रकार के केपिटलाइजेशन (capitalization) वाले शेयर में निवेश करते हैं। अर्थात इस प्रकार के फण्ड मे निवेशक को तिनो केपिटलाइजेशन (capitalization) का फायदा मिल जाता है। इससे ये फण्ड डायवर्सीफाईड और सिक्योर होते है।
मल्टी केप फण्ड को एसेट एलोकेशन
एसेट एलोकेशन (asset allocation) का अर्थ होता हे कि फण्ड मेनेजर म्यूच्युअल फण्ड (mtual fund ) मे किये गये पैसो को किन जगहो पर निवेश कर रहे है। सेबी ने एसेट लोकेशन के लिये नियम बनाये है जिसमे की इस प्रकार के फण्ड, लार्ज कैप, मिड कैप और स्माल केप तीनो मे 25-25 प्रतिशत हिस्सा रख सकते है। और साथ ही 75 प्रतिशत इक्विीटी (equity) और इक्विीटी ओरिएंटेड मे निवेश करना होगा।
अदाहरण के लिये मान लिजिये यदी मल्टीकैप फण्ड मेनेजर के पास 100 रुपये का फण्ड आता है या 100 रुपये कोई इस स्कीम मे निवेश करता है, तो फण्ड मैनेजर 25-25 रुपये लार्जकैप मे और बाकि 75 रुपये इक्विटी या इक्विटी ओरियेंटेड फण्ड मे निवेश करेगा।
मल्टी केप फण्ड के फायदे
लचिलापन (flexibility) – मल्टीकैप फण्ड (Multi Cap Fund) मे फण्ड मेनेजर के पास आजादी होती है वे समय-समय पर बाजर की स्थिति के अनुसार अपने निवेश को अलग-अलग केपिटलाइजेशन वाली कम्पनीयो मे निवेश करते है जिससे की निवेशक को ज्यादा फायदा होता है।
कम रिस्क (low risk) – शेयर बाजार मे हमेशा उतार चडाव चलता रहता है जिसके चलते निवेशको के मन मे डर बना रहाता है। परंतु मल्टीकैप मे निवेश करने से निवेशक को पोर्टफोलियो डायवर्सीफाई (diversify portfolio) होने से कम जोखिम की संभावना होती है।
हाई रिटन्र्स (high returns) – डायवर्सीफाइड पोर्टफोलियो (diversified portfolio) होने के कारण मल्टीकैप फण्ड ((Multi Cap Fund)) मे अच्छे रिर्टन की संभावना होती है। शेयर बाजर मे चाहे जितनी उथल पुथल हो। मल्टीकैप फण्ड (multicap fund) हमेशा अच्छे रिर्टन देते है।
ज्यादा असरदार (more effective) – मल्टीकैप फण्ड ((Multi Cap Fund)) अन्य फण्ड की तुलना मे काफी असरदार होते है। यहां पर फण्ड मैनेजर हमेशा ज्यादा ग्रोथ के अवसर तलाशते है। गिरते हुवे मार्केट मे भी ये फण्डमैनेजर नकारात्मक असर को कम कर देते है और निवेशक को अच्छा लाभ देते है।
मल्टीकैप फण्ड मे कितना रिस्क होता है
डायवर्सीफाइड (diversified) पोर्टफोलियो के कारण मल्टीकैप फण्ड मै रिस्क सामान्य होता है। मल्टीकैप फण्ड ((Multi Cap Fund) मे निवेशक को ना तो ज्यादा नुकसान होता है ना ही अत्यधित फायदा क्यो की डायर्वीफिकेशन (Diversification) इसके रिस्क नार्मल कर देता है। जिससे की निवेशक मुनाफा (profit) ज्यादा मिलने की संभावना होती है। अतः ऐसे फण्ड मे निवेेश करना अच्छा माना जाता है.
मल्टीकैप और फ्लेक्सीकैप फण्ड मे अन्तर
सेबी द्वारा समय-समय पर कुछ बदला किये जाते है जिसके चलते 2020 मे मल्टीकैप एसेट एलोकेशन मे कुछ बदलाव किये गये और साथ ही एक नया फण्डड लांच हुआ जिसे फ्लेक्सी कैप फण्ड कहा जाता है। कई सारे ऐसे फण्ड हाउस है जिन्होने फ्लेक्सी फण्ड (flexi fund) आने बाद अपने मल्टीकैप फण्ड (multicap fund) को फ्लेसीकैप फण्ड मे तब्दील किया जैसे
Kotak Standard Multi Cap Fund – Kotak Flexi Cap Fund
Parag Parikh Long Term Equity Fund – Parag Parikh Flexi Cap Fund
Motilal Oswal Multi Cap 35 Fund – Motilal Oswal Flexi Cap Fund
मल्टीकैप और फ्लेक्सीकैप फण्ड मे मुख्य अन्तर उनके एसेट एलोकेशन होता है
जहां मल्टीकैप मे 75 प्रतिशत इक्विटी और इक्विटी आरियंटेड फण्ड मे निवेश किया जाता है वही फ्लेक्सिकैप मे 65 प्रतिशत ही इक्विटी मे निवेश किया जाता है।
वहीं मल्टीकैप मे एलोकेशन फिक्स होता है परंतु फलेक्सि कैप मे ऐसा नही है, यह अपने हिसाब से एलोकेशन कर सकते है।
मल्टीकैप फण्ड ((Multi Cap Fund)) मे लार्ज कैप, मिडकैप, स्मालकैप मे 25 प्रतिशत निवेश किया जाता है परंतु फलेक्सि फण्ड मे यह फण्ड मैनेजर की इच्छा के उपर है।
किसे मल्टीकैप फण्ड मे निवेश करना चाहीये
रिस्क और रिवार्ड हमेशा सांथ चलते है व्यक्ति जितना ज्यादा रिस्क लेता है उसे रिवार्ड भी उतना ही ज्यादा मिलता है।
मल्टीकैप फण्ड (multicap fund ) स्माल ओर मिडकैप फण्ड के मुकाबले कम रिस्क वाले होते है। जिन निवेशको को अच्छा रिर्टन चाहीये होता है उन निवेशक को मल्टीकैप फण्ड मे निवेश करना चाहीये। जहां एक ओर लार्ज कैप फण्ड का रिस्क बहुत ज्यादा होता है वहीं मल्टीकैप इन फण्ड की तुलना मे कम जोखिम (risk) वाले और सुरक्षित होते है।
जो कम जोखिम मे अच्छा लाभ कमाना चाहता है वह मल्टी कैप फण्ड (Multi Cap Fund) मे निवेश कर सकता है। मल्टी कैप मे पोर्टफोलियो डावर्सीफाइड होता है जो निवेश को विविधता प्रदान करता है। जिससे मार्केट की हर परिस्थिति मे अच्छे रिर्टन की आशा की जाती है।
किसे मल्टीकैप फण्ड की सीमाएं
मल्टी कैप फंड्स में निवेश करने के कई फायदे हैं तो इसकी कुछ सीमाएं भी हैं।
- इसमें फण्ड मैनेजर को स्टॉक्स के चयन को लेकर प्रतिबंधों का सामना करना पड़ता हैं। फण्ड मैनेजर को कम से कम हिस्सा सभी केटेगरी में एलोकेशन करना ही होता हैं।
- फण्ड की साइज ज्यादा बड़ी हो जाने पर फण्ड मैनेजर को फण्ड एलोकेशन (Allocation) में दिक्कतों का सामना करना पड़ सकता हैं।
- सभी बाजार केपिटलाइजेशन (capitalization) वाली कंपनियों में समान फण्ड बंटवारे के कारण रिस्क की मात्रा बढ़ सकती हैं। साथ में रिटर्न्स पर भी नकारात्मक प्रभाव देखे जा सकते हैं।
कुछ मल्टीकैप फण्ड के रिटर्न
सामान्यतः देखा जाये तो मल्टी कैप फण्ड (Multi Cap Fund) कम रिस्क मे पांच सालो मे 12 से 15 प्रतिशत के रिर्टन दे सकते है। यह अलग- अलग फण्ड हाउस के लिये अलग-अलग होता है और फण्ड हाउस के एसेट एलोकेशन पर भी यह निर्भर करता है
कुछ मल्टीकैप फण्ड के पांच सालो के रिर्टन निचे तालिका मे दिये गये है
म्यूच्यूअल फण्ड (रेगुलर प्लान) | 5 Year Return |
ICICI Prudential Multi-Cap Fund | 12.58% |
Nippon India Multi-Cap Fund | 10.29% |
Principal Multi-Cap Growth Fund | 14% |